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मुरैना में एक पिता ने बेटी के जन्म पर खुशियां मनाई हैं बांटे फल।
मुरैना में एक पिता ने बेटी के जन्म पर खुशियां मनाई हैं। वह एक क्विंटल फल लेकर जिला अस्पताल पहुंचा और मरीजों को फल बांटते हुए बोला कि मेरे घर बेटी ने जन्म लिया है। यह देखकर मरीजों को तो खुशी हुई, साथ ही आश्चर्य भी हो रहा था क्योंकि आमतौर पर न केवल मुरैना बल्कि पूरे चंबल क्षेत्र में बेटियों के जन्म पर खुशियां नहीं मनाई जाती हैं। भोला सोलंकी, उन पिताओं में से एक है जिनके यहां मंगलवार को बेटियां हुई हैं। बेटी के जन्म पर वह बहुत खुश हुआ। खुशी को दूसरों के बीच बांटने के लिए वह सुबह ही फल मंडी गया और एक क्विंटल केले व अमरूद लेकर अपने परिजनों के साथ जिला अस्पताल पहुंच गया। अस्पताल में उसने स्वयं फलों की ट्राली को खींचा और मरीजों को फल बांटे। फल बांटते समय वह मरीजों को यह कहते हुए नहीं थक रहा था कि मुझे आज बहुत खुशी है क्योंकि मेरे घर पर बेटी ने जन्म लिया है। वह लोगों को बार-बार कह रहा था कि बेटियां लक्ष्मी होती हैं, उन्हें अस्पतालों में और झाड़ियों में न फेंके। उन्हें अपने घर की इज्ज बनाएं, बेटों की तरह पालें जिससे वह किसी पर बोझ न बनें। फल वितरित करते भोला सोलंकी व अन्य फल वितरित करते भोला सोलंकी व अन्य परिजन व समाज सेवी मौजूद इस मौके पर जिला पंचायद के सदस्य एन्दल सिंह कंषाना व पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष पटेल सहित अन्य लोग मौजूद थे। वह भी इस काम में उसका सहयोग कर रहे थे। उसके परिवार के लोग भी उसकी इस खुशी में उसका साथ दे रहे थे। लोगों में फैल रही जागरूकता लोगों में बेटियों के जन्म को लेकर जागरूकता फैल रही है। इस बात को भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष पटेल ने बताया। उन्होंने बताया कि पहले मुरैना में एक हजार में से साढ़े आठ सौ बेटियां जीवित रहती थीं लेकिन आज इनकी संख्या बढ़ी है। यह संख्या केवल लोगों में बेटियों के प्रति जागरूकता बढ़ने के कारण बढ़ी है।
