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परिवार के मुखिया में होना चाहिए ये गुण याद रखें आचार्य चाणक्य की ये सीख

आचार्य चाणक्य के नीतिशास्त्र चाणक्य नीति में जीवन दर्शन से जुड़े हुए कई रहस्यों का जिक्र किया है। साथ ही जीवन को किस ढंग से जीना चाहिए, इस बारे में विस्तार से बताया है। आचार्य चाणक्य ने Chanakya Niti ग्रंथ में परिवार के मुखिया के गुणों का भी जिक्र किया है। आचार्य चाणक्य ने कहा है कि यदि घर का मुखिया समझदार है तो वह हर परिस्थिति में अपने परिवार को साथ लेकर चलेगा, इसलिए परिवार के मुखिया में ये गुण जरूर होना चाहिए।

अपने फैसलों पर डटे रहें

आचार्य चाणक्य के अनुसार, कोई भी परिवार तभी शांति के साथ रह सकता है और तरक्की कर सकता है, जब परिवार का मुखिया दृढनिश्चयी हो। घर का मुखिया जो भी फैसला ले, उस पर हमेशा अडिग रहे। घर में वह अनुशासित माहौल कायम रखें और परिवार के सदस्यों को सही राह दिखाए।

कान का कच्चा न हो

आचार्य चाणक्य के मुताबिक घर के मुखिया को कभी भी कान का कच्चा नहीं होना चाहिए। बगैर प्रमाण के किसी भी बात पर भरोसा नहीं करना चाहिए। घर का मुखिया यदि कान का कच्चा रहेगा तो परिवार में असंतोष छा सकता है। घर में कोई मनमुटाव चल रहा है तो दोनों पक्षों की बात सुनकर ही कोई फैसला लेना चाहिए।

पैसे की बचत

आचार्य चाणक्य के मुताबिक, घर के मुखिया को विपत्ति काल के लिए हमेशा ही पैसों की बचत करके रखना चाहिए। परिवार के मुखिया को हमेशा अपनी मासिक आमदनी का कुछ हिस्सा बचत में डालना चाहिए, ताकि भविष्य में जरूरत के समय किसी के सामने हाथ फैलाने की नौबत न आएं। साथ ही अपने खर्चों पर भी नियंत्रण रखना चाहिए।

डिसक्लेमर

‘इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।’

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