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रिटायर्ड डीएसपी के भाई को ठगों ने चलाया चूना फर्जी पुलिस बनकर 80 हजार रुपए ठगे…….
ग्वालियर, वर्तमान समय में ठगो ने ठगी के नये नये तरीके अपनाए हैं जिसमें भोले भाले लोग फंस जाते हैं बता दें एक रिटायर्ड डीएसपी के भाई को ठगों ने सिंगरौली जिले का टीआई बनकर फोन कियाऔर सीधे हड़काते हुए बोला- तुम्हारा बेटा गैंगरेप के मामले में पकड़ा गया है। पीड़िता मरणासन्न हाल में है, अगर बेटे को बचाना है तो तुरंत 80 हजार रुपये खाते में डालने होंगे। बाकायदा उनके बेटे जैसी आवाज में बोलने वाले युवक से बात कराई।रोते हुए उसने बात की तो वह घबरा गए और आनन-फानन में 80 हजार रुपये डाल दिए। जब तीन लाख और मांगे गए तब ठगी का अहसास हुआ। रिटायर्ड डीएसपी के भाई की शिकायत पर पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। उस खाते की पड़ताल की जा रही है। ग्वालियर के पिछोर इलाके में रहने वाले पहाड़ सिंह शाक्य पेशे से किसान हैं।पहाड़ सिंह के भाई जीपी शाक्य रिटायर्ड डीएसपी हैं। वह मध्यप्रदेश के अलग-अलग जिलों में पदस्थ रहे हैं। पहाड़ सिंह का बड़ा बेटा राजू शाक्य सिंगरौली स्थित पावर प्लांट में सुपरवाइजर हैं। बीते रोज पहाड़ सिंह के मोबाइल पर अनजान नंबर से वाॅट्सएप काॅल आया।काॅल करने वाले ने खुद को सिंगरौली जिले का टीआई बताया और कहा कि राजू शाक्य और उसके तीन साथी गैंगरेप के मामले में पकड़े गए हैं। चारों ने गैंगरेप किया है, जिसमें पीड़िता की हालत गंभीर है। अगर बेटे को बचाना है तो तुरंत 80 हजार रुपये देने होंगे। फिर बात भी करा दी।उन्होंने जब बात की तो वह भ्रम में पड़ गए, क्योंकि रोती हुई जो आवाज थी वह उनके बेटे की ही लग रही थी। तुरंत दिए गए खाते में 80 हजार रुपये डाल दिए। फिर उसी नंबर से दोबारा फोन आया कि अभी तो छोड़ा जा रहा है, लेकिन अगर एफआइआर में से नाम हटवाना है तो तीन लाख रुपये ही देने होंगे। उन्हें कुछ संदेह हुआ। फिर उन्होंने अपने बेटे अमन को बताया और अमन ने भाई को काल किया। उनके भाई ने तुरंत फोन उठा लिया और कहा कि उसे किसी ने नहीं पकड़ा, जबकि वह तो कंपनी में है। फिर ठगी का पता लगा। इसके बाद यह लोग शिकायत लेकर एसपी आफिस पहुंचे। फिलहाल शिकायत पर पुलिस द्वारा जांच पड़ताल की जा रही है। निरंजन शर्मा अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ग्वालियर
